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कैरी ओवर कुकिंग उस घटना को
व्याख्यायित करता है जब खाने को ताप के स्रोत से हटा देने के बाद भी वह ताप
को बरकरार रखता है और खाना पकने की क्रिया चलती रहती है।
जब बड़ा
और सघन पदार्थ कैरी ओवर कुकिंग के प्रक्रिया के सबसे उच्चतम डिग्री में गरम
होता है। यह सत्य है कि दबाव की प्रक्रिया से खाना पकता है यानि प्रेशर
कुकर का इस्तेमाल होता है। जब विस्ल या सीटी पड़ना बंद हो जाता है तो कुकर
को आँच से उतार दें। कुकर के भीतर ताप बनेगा, कुछ देर तक उसी ताप से खाना
पकेगा। जब कुकर ठंडा होगा, तब दबाव मुक्त हो जाएगा।
बेकिंग के दौरान कैरी ओवर कुकिंग की पद्धति लागू होती है। प्रायः ओवन से निकालने के बाद भी 25% के लगभग आंतरिक तापमान बढ़ता है।
यह
सत्य है क्योंकि जब हम भाप में इडली और ढोकला बनाते हैं, तब आग से उतारकर
तुरन्त ढोकला को काटने की सलाह नहीं दी जाती है। कुछ मिनिट तक यूं ही छोड़
देने पर, अच्छी तरह से काट सकते हैं, यहाँ तक कि किनारों से भी साफ तरह से
टुकड़े कर सकते हैं।