गर्म रहिए गरम मसाले के साथ

ऐसा कुछ है जो मैं किचन के वॉल्ट में राज़ रखना चाहता हूँ तो वह है मेरे गरम मसाले का रेसिपी

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warm up with garam masala

ऐसा कुछ है जो मैं किचन के वॉल्ट
में राज़ रखना चाहता हूँ तो वह है मेरे गरम मसाले का रेसिपी, एक जादुई
मसाला। कुछ दालचीनी, जीरा, लौंग, शाहजीरा, इलाईची लें और भून कर पीस लें।
लेकिन हर एक का परिमाण कितना होगा? ओह, यह राज़ तो मेरे वॉल्ट में ही
रहेगा।

गरम मसाला - व्यक्तिगत इच्छा
सचमुच,
गरम मसाले की रेसिपी दूसरों से अलग व्यक्तिगत रेसिपी होती है। अगर आप सोच
रहे हैं कि गरम मसाला पर आप दूसरे दिन अनुसंधान करेगें तो मॉल से विभिन्न
कंपनियों के मसाले खरीदें। जब आप एक-एक करके इस्तेमाल करेगें तो सच्चाई का
पता चलेगा। बाहर के खरीदे मिक्सचरों को हटा दें, अगर आप दूसरे ग्रहणियों से
पूछेगें गरम मसाला के बारे में तो वे भी मेरी तरह ही जवाब देगीं -
सामग्रियों के नाम तो बतायेंगी मगर मात्रा के बारे में नहीं बता सकेंगी! वे
मुझसे एक चरण आगे बढ़कर थोड़ा-सा मसाला का सैम्पल घर ले जाने के लिए दे
देंगी। मगर आप सर फोड़ भी लें तो आपको परिमाण के बारे में पता नहीं चलेगा।

मेरी
बात मानिए आप खुद गरम मसाला बनायें और संरक्षित करके रख दें। गरम का मतलब
गर्म। इसलिए यह मसाला अपने नाम के तरह ही है। कभी-कभी कोई मूवी या रेस्तरां
गरम मसाला शीर्षक के रुप में अपना नाम रखते हैं। एक चुटकी गरम मसाला
व्यंजन में अंत में डालें ( दाल, सब्जी, मीट करी, पुलाव, ठंडे दही बड़े पर
छिड़क दे!) एक अलग ही अद्वितीय स्वाद आ जायेगा। इधर मैं आप से बात कर रहा
हूँ और इसी दौरान किसी और जगह में कोई अपनी ही रेसिपी के अनुसार गरम मसाला
में परम्परागत रुप से दालचीनी, धनिया, फूलचकरी, जीरा, शाहजीरा, लौंग, सौंफ,
हरी इलाईची, तेज पत्ते, बोरिया मिर्ची इतआदि के साथ गरम मसाला पावडर बना
रहा होगा।

सही तरीके से इसको बनायें!
प्रसंगत:
यह देखा गया है कि कमरशियल मिक्सचर कम दाम वाले मसालों का व्यवहार आयतन को
बढ़ाने के लिए करते हैं, जैसे - सुखी लाल मिर्च, सुखा लहसुन और अदरक का
पावडर, तिल और सरसों आदि। इस तरह के मिक्सचर अच्छे नहीं होते, कितना भी
इन्हें मुँह-बंद बोतल में रखें, महक और स्वाद चले ही जाते हैं। सही तरीका
यही है कि आप घर पर परम्परागत तरीके से अलग-अलग भून कर ओखली में मूसल से
कूट लें। मैं मानता हूँ, यह ज़्यादा थकाने वाला काम होगा, आप भूने मसालों
को इलेक्ट्रिक ग्राइंडर में डालकर पीस लें।

भारतीयता का मेलबंधन
मसालों
का मिश्रण एक अलग ही छवि बनाता है जो मेरे दिल के पास है। भारतीय पाक शैली
ही एक ऐसी अद्वितीय शैली है जो अपने व्यंजनों में एक से ज़्यादा मसालों का
इस्तेमाल करते हैं। हम इस मिश्रण का इस्तेमाल करते हैं: वह है गरम मसाला!
गरम मसाला के बारे में तथ्य यह है कि यह सिर्फ भारत में ( इसकी रेसिपी हर
प्रांत में और घर में अलग-अलग होती है) इस्तेमाल होता है। अगर कु्छ
यूरोपियन को भारतीय पाक शैली के बारे में जानना हो तो, उसे गरम मसाला के
बारे में भी जानना पड़ेगा! सच्चाई यह है कि यह मसालों का मिश्रण भारत के
उत्तरी शीतकालिक राज्यों में इस्तेमाल होता है - आत्मा और मुँह के
इंद्रियों को गर्म रखने के लिए और पाचन शक्ति को बढ़ाने के लिए।

सही समय में इसका प्रयोग
कुछ
व्यंजनों में गरम मसाला अंत में डालने के जगह शुरु में ही डालना चाहिए।
कभी-कभी सारे मसालों का इस्तेमाल करना पड़ता है, अगर आप चाहते हैं कि मुँह
में कोई मसाला न लगे तो एक पोटली में डालकर उसमें डालें और बाद में इसे
फेंक दें। यह पश्चिमी बुके गार्नी जैसा होगा। अगर आप गरम मसाला का इस्तेमाल
खाना पकाने के शुरु में करना चाहते हैं तो कम मात्रा में इस्तेमाल करें,
गरम मसाला की महक ज़्यादा निकलेगी। साधारणतः व्यंजन पकने के अंत में ही गरम
मसाला डाला जाता है इससे ज़्यादा महक चले जाने का डर नहीं रहता है। घर पर
गरम मसाला पावडर बनाकर थोड़े-थोड़े भागों में बाँटकर छह महीने तक ठंडी सूखी
जगह पर रख दें। भारत में गरम मसाला की रेसिपी परिवार का ही सदस्य है।

विशेष रेसिपी
आप
एक विशेष मिश्रण अपने किचन के शेल्फ में रखना पसंद करेंगें: 1-2 (2
ग्राम) फूलचक्री, 6 (6 ग्राम) काला इलाईची, 2 ½ छोटे चम्मच (3 ग्राम) (58)
काली मिर्च, 10 इंच स्टिक (7 ग्राम) दालचीनी, एक बड़ा चम्मच (6
ग्राम) (76) लौंग, 4 ग्राम (8) हरी इलाईची, 1 फूल ( 1 ग्राम) जावित्री,
4 बड़े चम्मच ( 20 ग्राम) धनिया, 3 बड़ा चम्मच (17 ग्राम) जीरा, ½ छोटा
चम्मच (2 ग्राम) पिसी हुई जयफल, ½ छोटा चम्मच ( 3 ग्राम) नमक।

भारी
फ्राइंग पैन को मध्यम आँच में गर्म करके सारे साम्रगी को धीरे-धीरे भूने
(इलाईची को थोड़े देर तक रखें); नमक को गर्म न करें, सारे मसाले के छिलके
गाढ़े रंग के होने तक भूने। धीरे-धीरे हिलाते रहे। ज़्यादा जल्दी न करें,
ताप को न बढ़ायें ताकि मसाले बाहर से जल जायें और भीतर कच्चे रह जायें। जब
मसाला भून जाये तब ठंडा करने के लिए रख दें। एक बार ठंडा हो जाने के बाद
इलाईची के दानों को छिलके से निकाल कर दूसरे मसालों के साथ फिर से डाल दें।
सबको एक साथ पीस कर पावडर बना लें, कॉफी ग्राइंडर में। पूरी तरह ठंडा
करके, हवा-बंद जार में, ठंडी, अंधेरी जगह में रख दें।

खत्म करने के
पहले एक शब्द में कहें तो, हर शेफ की गरम मसाले की अपनी अलग रेसिपी होती
है। आप अपनी इच्छानुसार मसालों का इस्तेमाल करके मिश्रण बना सकते हैं।